Saturday 10 August 2013

चीनी कहावत

शिक्षक द्वार खोलते हैं; लेकिन प्रवेश आपको स्वयं ही करना होता है। 

अध्यापक मार्गदर्शक का काम करते हैं, चलता आपको स्वयं पड़ता है।

अगर आप चाहते हैं कि किसी को मालूम न पड़े, तो ऐसा काम ही न करें।

यदि मुस्कान आपके स्वभाव में नहीं तो दुकानदारी के चक्कर में नहीं पड़े। 

जो हाथ फूल बांटता है उस हाथ में भी सुगंध आ जाती है।

गुलाब के फूलों को देनेवाले हाथों से खुशबू चिपकी रहती है। 

रईस जहां मौजूद होते हैं वहां की हवा की खुशबू बदल जाती है। 

यदि आप ग़ुस्से के एक क्षण में धैर्य रखते हैं, तो आप दुःख के सौ दिन से बच जाएंगे। 

ऐसा छात्र जो प्रश्न पूछता है, वह पांच मिनट के लिए मूर्ख रहता है, लेकिन जो पूछता ही नहीं है वह जिंदगी भर मूर्ख ही रहता है।

अच्छा क्या है, इसे सीखने के लिए एक हज़ार दिन भी अपर्याप्त हैं; लेकिन बुरा क्या है, यह सीखने के लिए एक घंटा भी ज़्यादा है। 

उदार मन वाले विभिन्न धर्मों में सत्य देखते हैं। संकीर्ण मन वाले केवल अंतर देखते हैं। 

हजारों मील की यात्रा भी प्रथम चरण से ही आरम्भ होती है। 

सबसे बड़ी यात्रा एक अकेले क़दम से शुरू होती है। 

हज़ार मील की यात्रा एक छोटे क़दम से शुरू होती है। 

लंबे से लंबे सफर की शुरुआत एक छोटे से क़दम से होती है। 

सबसे ऊंचे पहाड़ पर चढ़ने की शुरुआत एक छोटे से क़दम से होती है।

आहिस्ता चलने से नहीं, सिर्फ चुपचाप खड़े रहने से डर। 

आप अपने पास दुखों को आने से नहीं रोक सकते हैं, लेकिन आप उन दुखों से घबराएं नहीं, ऐसा तो आप कर सकते हैं। 

मोती समुद्र के किनारे पर नहीं मिलते अगर आपको मोती पाना हैं तो आपके समुद्र में गोता लगाना होगा। 

गज में क़ब्ज़ा करने से बेहतर है इंच में क़ब्ज़ा करना। 

दूल्हे के लायक़ है, उसके हाथ की ताकत। 

अगर तुम्हारे पास दो रुपये हो तो एक से रोटी ख़रीदो, दूसरे से फूल। रोटी तुम्हे ज़िन्दगी देगी और फूल तुम्हे जीने की कला सिखाएगा। 

अपने दूर रहने वाले रिश्तेदारों से अधिक महत्व अपने पड़ोसियों को दीजिए। 

केवल बातों से चांवल पकते नहीं। 

यदि कोई व्यक्ति अच्छा जीवन जीता है तो वह भारत में पुनर्जन्म लेगा। 

यदि आपको एक दिन की खुशी चाहिए, तो एक घंटा ज़्यादा सोएं। यदि एक हफ्ते की खुशी चाहिए, तो एक दिन पिकनिक पर अवश्य जाएं। यदि एक माह की खुशी चाहिए, तो अपने लोगों से मिलें। यदि एक साल के लिए खुशियां चाहिए, तो शादी कर लें और जिंदगी भर की खुशियां चाहिए तो किसी अनजान व्यक्ति की सहायता करें। 

इंसान बूढ़ा होता है और मोती पीले पड़ते जाते हैं, इनसे बचने का कोई उपाय नहीं है। लेकिन इन परिस्थितियों के लिए तैयारी करने के उपाय तो हैं। 

अंधेरे को कोसने से बेहतर है मोमबत्ती जलाओ। यानी कोसने से बेहतर करना है। 

संसार में दो ही व्यक्ति ऐसे हैं जो सही शब्दों में मानव हैं- एक जो मर चुका है, दूसरा जिसका अभी जन्म नहीं हुआ है। 

उदार मन वाले विभिन्न धर्मों में सत्य देखते हैं, संकीर्ण मन वाले केवल अंतर देखते हैं। 

चिड़ियां इसलिए नहीं गातीं कि उसके पास जवाब हैं। वे गाती हैं, क्योंकि उनके पास गीत हैं।' हालांकि हर गीत का अपना, अंचल जाति, संदर्भ और प्रभाव होता है। 

लड़ाई के जो तीन सौ सतरह पैंतरे ज्ञानियों ने गिनवाये हैं, उनमें जो पैंतरा सबसे उपयोगी बताया गया है वो यह है कि भाग लो। ~ 

बालक माता-पिता की विरासत लेकर चलता है, सिर्फ आर्थिक की नहीं, उनका रवैया, चरित्र और आचरण भी। यानी उसकी सबसे पहली नींव माता-पिता रचते हैं।

एक तस्वीर हज़ार शब्दों से ज़्यादा अर्थवान होती है। 

कुत्ते के ढेला मारने से पहले यह दरियाफ्त कर लेनी चाहिए कि इसका मालिक कौन है। 

कौन जाने क्या अच्छा, क्या बुरा। 

इंसान को कंघी तब मिलती है, जब वह गंजा हो जाता है। 

सख्त शिक्षा से श्रेष्ठ शिष्य निकलते हैं।

ख़ाली गिलास को ही भरा जा सकता है, भरे हुए गिलास में कुछ भी डालो छलक ही पड़ेगा। 

जब हाथी बीमार पड़ता है, तो नन्ही चीटियां भी उसे लात मार जाती हैं। 

अगर आप किसी को एक दिन का खाना देते हो तो उसका पेट एक दिन के लिए ही भरता है, परन्तु अगर आप उसे कमाना सिखा देते हो तो फिर उसे किसी से खाना मांगना नहीं पड़ता। 

बिना सद गुणों के सुन्दरता अभिशाप हैं। 

अच्छे व्यक्ति व वस्तुओं की अच्छाई भविष्य में ही पता चलती है।

चीनी लोग हर उस चीज़ को खाते हैं जो उड़ती हो, चलती हो, या तैरती हो. सिवा हवाई जहाज, मोटर गाड़ी और कुर्सी मेज के। 

जितनी सावधानी से छोटी मछली के व्यजंन पकाए जाते हैं, उतनी ही नजाकत से संभालना पड़ता है एक परिवार को। 

दस हज़ार किताबों को पढने से बेहतर, दस हज़ार मील की यात्रा करना है।

पीड़ा अनिवार्य है, पर पीड़ित होना वैकल्पिक। 

भोजन का स्वाद पहले आँखों से, फिर नासिका से और फिर मुंह से लिया जाना चाहिए। 

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